प्रेम वियोग ;  तुम्हें हम भूलना चाहे —– तो हम भूल ना पायेंगे

प्रेम वियोग ;  मीमांसा डेस्क। तुम्हें हम भूलना चाहें तो हम भूल न पायेंगे। तेरी यादों…

आशा

जब साथ न देता कोई मैं निज का हो जाता हूँ। पीड़ा जब सहन न होती…

दूसरा कैसे यहाँ बेईमान है ?

लौट जाते बज्म से खामोश जो हाय उनकी मंच पर क्या शान है ? कल मिला…

कहाँ उसमें मुलाकात

मुझसे अगर वो पाँच मिनट बात करेंगे  जो हैं नही उनके लिए कुछ गालियों के साथ।…

नहीं उसको बुलाये

है पंख नहीं पर हमें परवाज है जरूर ख्यालों में ले ऊड़ान की भरते हैं कलायें।…

हंसी के आगे हम ———– अपने दर्द को छुपाते हैं

        हंसी के आगे हम अपने दर्द को छुपाते हैं। अपने दर्द को…

प्रेम कविता ; शिकायतें तो बहुत है मुझे तुमसें ——— मगर शिकायत मै करूं कैसे

  शिकायतें तो बहुत है मुझे तुमसें मगर शिकायत मै करूं कैसे ? अपनी हर बात…

विकलांग व्यक्ति के संघर्ष की कहानी

      पूजा पपनेजा। यह कहानी दिल्ली के डाबरी मोड़ के रहने वाली शिवम् शर्मा…

अभिनय

बड़े – बड़े ऋषि मुनियों ने सदा से कहा है ,बेटे। ये दुनिया रंगमंच है हम…

समाज का व्यवहार

  उम्र लग जाती है शोरहत कमाने में , वक्त लगता नहीं इज्जत गंवाने में —…